श्रम साधक को विश्राम नहीं
कर्म से नहीं फुर्सत ,आराम नहीं
मेहनत उसका कार्य ,करता उसे हराम नहीं
चलता ही जाए ,लेता कभी विराम नहींकर्म ही उसकी सच्ची पहचान
ईश्वर का इक अनमोल वरदान
राष्ट्र का सदा बढाता मान
समाज की आन बान और शानश्रमसाधक है देश का कर्णधार
श्रम से करे राष्ट्र का उद्बार
देश का गौरव और मेहनत का अवतार
श्रम की महिमा अपरमपारश्रमसाधक का करें सम्मान
उसके श्रम का करें बखान
सरकार दे इन की और ध्यान
कायम रहे उन का आत्मसम्मान~ अशोक शर्मा वशिष्ठ