उसे देखता हूँ

हम अपनी रूचि के अनुसार ही सारे कार्य करते हैं, हाँ!, कुछ अपवाद हो सकता है। कोई किसी को देखना पसंद करता है, मिलना चाहता है तो कहीं किसी को कोई फूटी आंख भी नहीं भाता। हर इंसान अलग है…

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अगर मुस्कान तुम दे दो

सिक्के के दो पहलू होते हैं- यह तो हम सभी जानते हैं, इसी प्रकार हमें भी पूर्ण होने के लिए किसी और की जरूरत होती है। एक दूसरे का पूरक बनने से हम परिपूर्ण हो पाते हैं। कलमकार विजय कनौजिया…

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चंद खयालात

कलमकार खेम चन्द ने कुछ खयालात पंक्तिबद्ध तरीके से प्रस्तुत किए हैं- यह ऐसे माहौल को रेखांकित करते हैं जो जीवन में हम सभी अनुभव करते हैं। नज़दिकियां रही या कोई अफ़साना रहा होगा हमारी जिन्दगी की मुलाकातों का भी…

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गीत कोई नया गुनगुनाते हैं हम

जब हम गुनगुनाते हैं तो लोग अक्सर पूछ लिया करते हैं कि क्या बात है जनाब! बड़े खुश लग रहे हो। वास्तव में संगीत हमारे दुखों को भी भुलाने में अहम भूमिका अदा करता है। विकट परिस्थितियों में तनाव मुक्त…

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गीत मैं गाता हूँ

भारतीय होने पर हम गौरवान्वित महसूस करते हैं, देश की विविधता और एकता एक मिशाल है। कलमकार शुभम ने अपने मन की बात एक गीत में कही है, वे लिखते हैं - गीत मैं गाता हूँ। गीत मैं गाता हूँ,…

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अरज़े हिंद

अपने वतन के लिए हमारे मन में सदैव सेवा का भाव रहता है। कलमकार इरफान ने भी कुछ पंक्तियाँ अपने विचार व्यक्त करते हुए "अरज़े हिंद" कविता में लिखीं हैं। देखो तो आसमान को छूती है अरज़ॆ हिन्द सोने की…

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यकीन नहीं होता

हम आज जो भी हैं वही भविष्य में भी बनें रहेंगे- यह कहना सही नहीं है। समय और जरूरतों के अनुसार पेशा, उद्देश्य और इच्छाएं बदलती रहती हैं। कुमार किशन कीर्ति को लेखन का शौक है जिसे वे भरपूर समय…

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वादी ए लाहौल-स्पीति

हिमाचल प्रदेश के लाहौल और स्पीति जिले में स्थित है 'स्पीति घाटी'। कलमकार खेम चन्द इसी प्रदेश के मूल निवासी हैं तो इस वादी को उनसे बेहतर और कौन जान सकता है। वादी-ए-लाहौल-स्पीति की सुंदरता और विशेषता खेम चन्द ने…

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हैवानियत की खिलाफत

समाज में आपराधिक तत्वों के बढ़ते कदम मानवता को शर्मशार कर रहें हैं। हैदराबाद में महिला वेटनरी डॉक्टर के साथ गैंगरेप के बाद हत्या और फिर लाश को जला देने की घटना महिला सुरक्षा पर बड़ा सवाल खड़ी करती है।…

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बौनी उड़ान

इस संसार में सभी के जीवन में अनेक समस्याएँ होती हैं फिर भी प्रयासरत रहते हुये हम उन सभी को झेल लेते हैं। चूंकि यह जीवन बहुत छोटा होता है हमारी कई आशाएँ और इच्छाएँ अधूरी रह जातीं हैं। हमने…

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सुबह लगे सोनाली सी

हर दिन शुभ होता है, हमें आज से बेहतर दूसरा कोई दिन न मिलेगा। दिन की शुरुआत सुबह से होती है और जब सुबह खूबसूरत लगे तो पूरा वातावरण मनभावक लगता है। कलमकार रागिनी स्वर्णकार शर्मा के अनुसार सुबह सोनाली…

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बहन- अंशुल का हँसता चेहरा

भाई-बहन का रिश्ता बहुत ही प्यारा होता है, जिसमें नादानियां, नटखट शरारतें और ढेर सारा प्रेम शामिल होता है। ऐसे में यदि बहन हमसे दूर चली जाए तो उसकी कमी से होनेवाला दर्द कभी मिट नहीं पाता। कलमकार खेम चन्द…

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पिंकी के पापा- बालगीत

बच्चों को भी गीत बहुत पसंद होते हैं और गा कर बताई जाने वाली बातों को वे बड़ी जल्दी ग्रहण करते हैं। कलमकार शुभम द्विवेदी ने मजाकिया अंदाज में एक बालगीत प्रस्तुत किया है जिसे आप अवश्य पसंद करेंगे। देखों…

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मेरा प्यारा हिंदुस्तान

नायाब बलियावी जी अपने देश के प्रति एक कविता में स्वयं के विचारों को प्रस्तुत करते हुए कहते हैं- मेरा प्यारा हिंदुस्तान। योरप से कश्मीर की वादी अरब सा राजस्थान भारत तेरे दामन में हर मौसम का वरदान कहीं पर…

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करवाचौथ

पुरुष शायद ही किसी व्रत का पालन करतें हों लेकिन भारतीय महिलाएं अनेकों व्रत का पालन करतीं हैं, वह भी पति और बच्चों की कुशलता के लिए; अपने लिए नहीं। कलमकार खेम चन्द ने करवा-चौथ व्रत पर चंद पंक्तियाँ लिखी…

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तस्वीरों में यादों

नीरज त्यागी बताते हैं कि यादें किस तरह हमारा पीछा करतीं हैं, कोई भी इन यादों से दूरी नहीं बना सकता है। हमसे जुड़ी हुई हर चीज़ की अलग-अलग यादें किसी भी पल उभर कर सामने आ जाया करती हैं।…

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पत्रकार

हम सभी के जीवन में पत्रकार एक बड़ी भूमिका निभाते हैं। कलमकार कुमार किशन कीर्ति ने अपनी पंक्तियों में पत्रकार की अहमियत को बताया है। समाज और देश के नायक हैं पत्रकार हमें देश-दुनिया की खबरों से अवगत कराते हैं…

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रस्म जमाने की

इस दुनिया में हम लोगों ने तरह तरह की रस्में बनाकर रखीं हैं, जो लोगों कष्ट भी देतीं हैं। ढोंग और  प्रताड़ित करनेवाली इन रस्मों को त्याग देना चाहिए जो मानवता की राह में एक बड़ा कदम हो सकता है।…

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कुटुंब

हमारे भीतर कई विचार और कल्पनाएं जन्म लेतीं रहती हैं। एक कवि इन्ही से प्रेरित होकर कविता को आकार देता है, ये विचार ही उस कविता का परिवार होती हैं। कलमकार शहंशाह गुप्ता ने इसी तरह का भाव अपनी रचना…

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भरोसा कैसे करें

कभी-कभी हमें ऐसे धोखों का सामना करना पड़ता है जो अपने लोगों ने ही दिए होते हैं। ऐसी परिस्थिति में किसी पर भी विश्वास करना मुश्किल लगता है। इस स्थिति को कलमकार शुभम ने अपनी कविता में जताते हुए लिखा…

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