मृत शरीर सा छाती लिए

मै इलाहाबाद का नैनी वाला नया पुल भाई मेरी उदासी का हाल क्या जाने कोई? कभी सभी टहलते थे, मेरी छाती पर अपनों के संग और अकेले भी प्रेमी जोड़े इंतज़ार में करते हुए एक दूसरे की रति के लिए…

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