अजनबी

हमारी मुलाकात अजनबियों से होती हैं और वे करीबी बन जाते हैं। कलमकार अनिरुद्ध तिवारी ने एक कविता प्रस्तुत की है जिसमें उन्होंने किसी अजनबी का जिक्र किया है।जब दूर से देखा था तुमकोपता नहीं था!इतनी समझदार हो तुम!बड़े संकोच…

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